सभी मित्रों को नव वर्ष की हार्दिक शुभकामनाएं.
Saturday, December 31, 2011
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
दुनिया छोटी हो गयी है और आदमी ज्यादा मशरूफ. अब मिलने-जुलने हमबयानी हमसुखनियत के मौके कहाँ और कहाँ वह नज़र-ब-नज़र गुफ्तगू की ऐश. आइए कि कभी कभी यूं भी मिलें. आइये कि दोस्त बनें. कुछ मैं सुनूं, कुछ आप कहें.
No comments:
Post a Comment
टिप्पणियाँ उत्साह बढ़ाती हैं । कृपया मेरी कृतज्ञता एवं धन्यवाद स्वीकार करें।